सरकार का मुख्य उद्देश्य देश को टी बी मुक्त करना ध्येय: सुषमा गुप्ता

फरीदाबाद, 14 मार्च। डीसी कम अध्यक्ष, जिला रैडक्रास सोसायटी विक्रम सिंह के दिशा-निर्देश पर भारत सरकार की 2025 तक टी0 बी0 मुक्त भारत की मुहिम को  सफल बनाने के प्रयासों से भारतीय रैडक्रॉस सोसाइटी, राष्ट्रीय मुख्यालय एवं हरियाणा राज्य शाखा के संयुक्त तत्त्वावधान में सचिव बिजेंद्र सौरोत के कुशल मार्गदर्शन में स्वास्थ्य विभाग फरीदाबाद तथा तेजिंदर सिंह मेमोरियल एवं एस्कॉर्ट मेडिकेयर फाउंडेशन के सहयोग से एक दिवसीय टी0बी0 स्क्रीनिंग एवं स्वास्थ्य जांच शिविर का आयोजन राणा फार्म हाउस, स्क्रैप मार्केट जीवन नगर पार्ट-2 गोंछी सोहना रोड, फरीदाबाद में किया गया। शिविर में मुख्य अतिथि के रूप में शिरकत करते हुए श्रीमती सुषमा गुप्ता, वाईस चेयरपर्सन, भारतीय रेड क्रॉस सोसाइटी, हरियाणा राज्य शाखा, चंडीगढ़ ने कहा कि भारत सरकार का मुख्य उद्देश्य देश को टी बी मुक्त करना है। प्रधानमंत्री का विजन एक स्वस्थ भारत का निर्माण करना है और इसके लिए हर संभव प्रयास किए जा रहे हैं। हेल्थ चेकअप कैंप एवं स्क्रीनिंग कैंपों के माध्यम से लोगों में टीबी जैसी बीमारी का पता चलता है, जिसका समय रहते इलाज कराने में मदद मिलती है।

श्री अजय सोमवंशी, रैड क्रॉस संरक्षक व सी एस आर हेड विक्टोरा ऑटो प्राइवेट लिमिटेड शिविर का विधिवत रूप से शुभारम्भ किया।

 इन लोगों दी गई सहायता:-

शिविर में 220 असहाय जन मानस की टीबी जाँच, आँखों,  रक्तचाप, ब्लड शुगर, एच0आई0वी0, हिमोग्लोबिन तथा जोड़ों की जांच की गई। उन्होंने रैडक्रॉस के इस मानव कल्याणकारी कदम की सराहना की और बताया कि मानव हित में कार्य करना आने आप में बहुत ही शुकुन की बात है। रैडक्रॉस मानव हित में कार्य करने वाली अंतराष्ट्रीय संस्था है।

जिला रेडक्रॉस सोसाइटी के सचिव बिजेन्द्र सौरोत ने बताया कि रैडक्रॉस के उद्देश्य स्वास्थ्य-सेवा-मित्रता को मद्देनज़र इन शिविरों का आयोजन किया गया है।

 तपेदिक एक खतरनाक बीमारी:-

बिजेन्द्र सरोत ने कहा कि तपेदिक की बीमारी बहुत ही खतरनाक बीमारी है, परन्तु लाइलाज नहीं है इस बीमारी से सफल इलाज यही है कि पौष्टिक आहार ले और समय-समय पर अपनी जांच कराए। उन्होने बीमारी से बचाव के बारे में जानकारी देते हुए बताया कि यह रोग एक खतरनाक संक्रामक रोग है सही समय पर इसका इलाज नहीं होने पर यह जानलेवा हो सकती है। इसलिए अपने आप को इस बीमारी की चपेट में आने से बचाने के लिए आपको इसके बारे में पूरी जानकारी होना बहुत जरूरी है। जिससे आप खुद व अपने परिवार को इस जानलेवा रोग की चपेट में आने से बचा सकें।

 यह उपचार भी जरूर करें:-

 वहीं पुरषोत्तम सैनी व मधु भाटिया ज़िला तपेदिक समन्वयक ने तपेदिक की बीमारी से बचाव के बारे में बताते हुए कहा कि तपेदिक कि बीमारी पैदा करने वाले बैक्टीरिया से लडऩे में लहसुन कारगार होता है, रोगाणुरोधी गुण से भरपूर लहसुन, प्रतिरक्षा प्रणाली को भी बढ़ावा दे सकता है। पुदीने में एंटी-बैक्टीरियल गुण पाए जाते हैं, जो तपेदिक से प्रभावित ऊतकों के उपचार में मददगार साबित हो सकते हैं। इसी के साथ आंवला भी लेना चाहिए आंवले में जीवाणुरोधी गुण होते हैं।

तेजिन्दर सिंह मेमोरियल की और से श्री दीपक एवं सेंटर की टीम द्वारा एक्सरे, दवाईयां व आई वैन की व्यवस्था कराई गई तथा टी बी अलर्ट  इंडिया संस्था के द्वारा कैंप में एक्स रे की सुविधा उपलब्ध करवाई गयी।

 इन महानुभावों का रहा विशेष योगदान:- 

 इस शिविर के सफल आयोजन मे पुरषोत्तम सैनी, डॉक्टर आर एस सैनी, एम डी (मेडिसिन) डॉ एल एस प्रेमी, प्रोजेक्ट मैनेजर सुशील कुमार, परताप सिंह, तपस्या मेहरा कार्यक्रम समन्वयक तेजेंद्र मेमोरियल हस्पताल व सुषमा गेरा , कौस्तुभ ,रिया शर्मा ,बृजमोहन शर्मा, प्रेम, रानी, परवीन आदि ने सहयोग किया। इस जांच शिविर में स्वास्थ्य विभाग की टीम के साथ-साथ अस्पताल की टीम ने भी सहयोग किया।

You might also like
Leave A Reply

Your email address will not be published.